श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी महाराज की शिक्षाओं को आत्मसात कर जीवन को बनाए सफल : भाई रणजीत सिंह
अंबाला, ७ मार्च
श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी महाराज हमें जीवन जीने की कला सिखाते हैं। गुरुबाणी द्वारा दी गई शिक्षाओं को यदि इंसान अपने जीवन में आत्मसात करे, तो उसका जीवन सुखमय हो जाएगा। यह विचार भाई रणजीत सिंह ने प्रकट किए। वे ऐतिहासिक गुरुद्वारा श्री पंजोखरा साहिब अंबाला में धार्मिक समागम के दौरान संगत का मार्गदर्शन कर रहे थे। उन्होंने कहा कि हमें अपने बच्चों को भी गुरबाणी से जोडऩा चाहिए। बच्चों को ऐतिहासिक गुरु अस्थानों पर ले जाकर उन्हें इतिहास की जानकारी देनी चाहिए। ताकि उन्हें सिख कौम के गौरवमयी इतिहास का ज्ञान हो सकें। भाई रणजीत सिंह ने कहा कि गुरु साहिबान की शिक्षाओं को आत्मसात करके हम हर हाल में संतोषजनक जीवन व्यतीत कर सकते हैं, बस श्रद्धाभाव की जरुरत है। समागम में भाई रविंदर सिंह तोपखाना, गुरुद्वारा साहिब के हजूरी रागी भााई सुरेंद्र सिंह व भाई कवलजीत सिंह ने शबद कीर्तन करके संगत को निहाल किया। इसके अलावा भाई मलकीत सिंह बी.ए व भाई तरसेम सिंह के ढाड़ी जत्थे ने अपने रचनाओं से संगत में जोश भर दिया, जबकि भाई साहिब सिंह के कविशरी जत्थे ने गुरु इतिहास से संगत को जोड़ा। समागम में गुरुद्वारा साहिब में अमृत संचार भी करवाया गया, जिसमें ७८ प्राणियों ने अमृतपान करके स्वयं को पुण्य का भागीदार बनाते हुए गुरुसिख सजने का सौभाग्य प्राप्त किया। कार्यक्रम में हरियाणा सिख गुरुद्वारा मैनेजमैंट कमेटी के कार्यकारिणी समिति मैंबर विनर सिंह, भूपिंदर सिंह बिंद्रा, सुदर्शन सिंह सहगल,ख्तरविंदरपाल सिंह, विनर सिंह, सुखेदव सिंह गोबिंदगढ़, हरपाल सिंह मछौंडा, मैनेजर सुखदेव सिंह, हरभजन सिंह सहित अन्य मौजूद रहे।
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